प्रेषक-मनोज जैसवाल-कर्नाटक के मुख्यमंत्री बी. एस. येदयुरप्पा को लगता है कि विपक्ष जादू-टोना करके उन्हें मारने की साजिश रच रहा है। लेकिन कुछ लोग सहानुभूति प्रकट करने के बजाय इसके लिए उनकी हंसी उड़ा रहे हैं। अब इसे क्या कहें कि एक आदमी की जान पर बन आई है और लोग उसका मजाक उड़ा रहे हैं। उन्हें समझना चाहिए कि येदयुरप्पा जी ऐसा कह रहे हैं तो इसके पीछे कोई न कोई बात जरूर होगी। आखिर वह बीजेपी के नेता हैं। उनकी पार्टी प्राचीन परंपराओं और कर्मकांडों में गहरी श्रद्धा रखती है। केंद्र में एनडीए शासन के दौरान इसके लिए एक विश्वविद्यालय खोलने की भी बात उठी थी, जिसमें सभी तरह के कर्मकांडों का अध्ययन कराने का प्रस्ताव था। पार्टी के एक युवा नेता ने तो एक बार ओझाओं और तांत्रिकों का सम्मेलन तक कराया था। तंत्र-मंत्र की ताकत तो बीजेपी वाले ही समझ सकते हैं। येदयुरप्पा जी को मालूम है कि इसके जरिए क्या-क्या किया जा सकता है। दरअसल कर्नाटक में राजनीतिक अस्थिरता के दौर में बीजेपी की सत्ता स्थापित करने पर उन्हें न सिर्फ पार्टी में, बल्कि बाहर भी खूब वाहवाही मिली थी। इससे वह आत्मविश्वास से लबालब भर गए। वह विपक्ष को बेजान और बेकार समझने लगे। उन्हें लगा कि वह राज्य में जो चाहें कर सकते हैं, लेकिन पिछले कुछ समय से जिस तरह अपोजीशन उनके खिलाफ मुखर हुआ है, उस पर उन्हें गहरा आश्चर्य हो रहा है। वह कैसे मान लें कि कमजोर विपक्ष उनकी जैसी शख्सियत को हिला सकता है। जरूर विपक्ष के साथ कोई अलौकिक शक्ति है, यानी काला जादू। इसी के बल पर उनकी सरकार को झटका दिया जा रहा है। लेकिन येदयुरप्पा जी भी हार मानने वाले थोड़े ही हैं। कहा जा रहा है कि इसकी काट के लिए वह खुले बदन फर्श पर सोने और सूर्य नमस्कार करने वाले हैं। वह मुख्यमंत्री हैं। वह चाहें तो कुछ भी कर सकते हैं। वह दुनिया भर के तांत्रिकों को बेंगलुरु बुलवा सकते हैं। हर तरह के अनुष्ठान करवा सकते हैं। वह कुछ ऐसा करवाएं कि राज्यपाल की मति ही बदल जाए और वह उनकी प्रशंसा करने लगें। हालांकि सबसे अच्छा तो यह होगा कि वह करप्शन के मुद्दे को ही गायब करवा दें। वह अपनी ही पार्टी के राष्ट्रीय नेताओं पर ऐसा जादू करवाएं कि वे 2-जी स्पेक्ट्रम, कॉमनवेल्थ वगैरह का मामला ही भूल जाएं। इससे कांग्रेस भी येदयुरप्पा जी को लपेटना बंद कर देगी।
manojjaiswalpbt@gmail.com
manojjaiswalpbt@gmail.com
0 कमेंट्स “कर्नाटक में काला जादू ?manaj”पर